शहर व आसपास के गांवों में बेधड़क हो रही अवैध प्लाटिंग
जांजगीर चांपा। शहर व आसपास के गांव से लगे खेतों की बिक्री आवासीय प्लाट के रूप में बेधड़क हो रही है। इन खेतों को प्लाटिंग करने वाले लोग पहले कच्ची सड़क तैयार करते हैं इसके बाद वहां अपने तरीके से प्लाटिंग करते हैं, मगर विभागीय उदासीनता के चलते अवैध प्लाटिंग करने वालों के हौसले बुलंद है। संबंधित अधिकारियों द्वारा केवल नोटिस जारी कर कार्रवाई की औपचारिकता निभाई जा रही है, मगर विभागीय उदासीनता के चलते अवैध प्लाटिंग करने वाले इसका जवाब तक देना मुनासिब नहीं समझ रहे हैं। हालांकि एक बार पिᆬर से एसडीएम द्वारा खोखसा पंचायत की जमीन पर अवैध प्लाटिंग करने वाले 11 लोगों को नोटिस जारी कर 22 मार्च तक जवाब प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है।
औद्योगिकीकरण व शहर के चकाचौंध के चलते अब ग्रामीण क्षेत्रों से बड़ी संख्या में लोग शहर की रूख करने लगे हैं। जिला मुख्यालय सहित चांपा, अकलतरा, सक्ती, शिवरीनारायण सहित अन्य नगरीय निकायों में जमीन की मांग बढ़ने लगी है। यहां लगातार शहरों का दायरा भी बढ़ने लगा है, मगर जिला मुख्यालय सहित क्षेत्र में शासन-प्रशासन के सारे नियमों को ताक पर रखकर यहां खेत खलिहान की आवासीय प्लाट के रूप में खरीदी बिक्री हो रही है। स्थिति यह है कि शहर के आसपास इलाकों में रोज कहीं ना कहीं बिना लेआउट व प्रशासन की अनुमति के ही कॉलोनी का नक्शा खींचा जा रहा है। जिला मुख्यालय सहित आसपास के इलाकों में इन दिनों अवैध प्लाटिंग का कारोबार जोर-शोर से हो रहा है। नगर पालिका जांजगीर-नैला व चांपा सहित अन्य नगरीय निकाय क्षेत्रों में बड़े स्तर पर अवैध प्लाटिंग का खेल चल रहा है। यहां प्लाट खरीदने वाले को अंधेरे में रखकर प्लाटिंग की जा रही है। हालांकि राजस्व अधिकारियों द्वारा उन्हें नोटिस जारी कर कार्रवाई की औपचारिकता निभा दी जाती है, मगर कड़ी कार्रवाई के अभाव में अवैध प्लाटिंग करने वालों के हौसले बुलंद हैं। विभागीय जानकारी के अनुसार कुछ माह 49 लोगों को नोटिस जारी कर उनसे जवाब मांगा गया था, मगर इनमें से 11 लोगों को नोटिस जारी कर उसे तामिल करने का प्रयास किया गया, मगर उनके द्वारा नोटिस की तामिल ही नहीं की हालांकि एसडीएम मेनका प्रधान द्वारा खोखसा की जमीन पर खसरा नंबर 373/1, 364, 372, 371, 370, 464/1, 464/2, 464/3, 464/4, 464/5, 464/6, 464/7 पर अवैध प्लाटिंग करने वाले 11 लोगों को पिᆬर से नोटिस जारी कर उन्हें 22 मार्च को सुबह 11 बजे तक अपना पक्ष स्वयं, अधिवक्ता के माध्यम उपस्थित होकर अपना पक्ष करने का निर्देश दिया गया। साथ ही नियत समयावधि के बाद प्राप्त आपत्ति,दावा पर कोई विचार नहीं किए जाने का भी आदेश दिया गया है। हालांकि एक पिᆬर से अवैध प्लाटिंग करने वालों को नोटिस जारी होने के हड़कंप है। इस संबंध में एसडीएम मेनका प्रधान के मोबइल नंबर पर काल जानकारी चाही, मगर उनके द्वारा काल रिसीव नहीं किया गया।
इनके नाम पिᆬर से जारी हुआ नोटिस
मामले की सुनवाई के लिए ग्राम खोखसा स्थित भूमि पर अवैध प्लाटिंग करने पर अनावेदक / भूस्वामियों को पूर्व में नोटिस जारी किया गया है लेकिन नोटिस बिना तमिल वापस आ जाने के कारण पुनः समाचार पत्र के माध्यम से उन्हें सूचित किया गया है। प्रकरण की सुनवाई के लिए आवेदक स्वामी राम कुमार पिता पुसाउ, गोविंद राम, राम कुमार पिता पुसाउ, जय नारायण पिता तीजराम, बलवंत पिता पूनम यादव संतोष कुमार पिता बुद्घू राम, त्रिवेणी पिता गंगाराम, सुरेश पिता ईश्वरी प्रसाद, पुष्पा देवी पति भूपेंद्र, बजरंग पिता अमृतलाल, लखेश्वरी पति विजय कुमार, और भारती पति रमाशंकर को नोटिस जारी किया गया लेकिन नोटिस बिना तमिल वापस आ जाने के कारण समाचार पत्र के माध्यम से उन्हें सूचित किया गया है।
एग्रीमेंट का चल रहा खेल, ठगे जा रहे किसान
जिला मुख्यालय सहित नगरीय निकायों में जमीन दलाल सक्रिय हैं। यहां दलाल किसानों के खेतों को खरीदने का प्रलोभन देकर कुछ रकम देकर कम कीमत पर एग्रीमेंट करा लेते हैं। भोलभाले किसान उनके प्रलोभन में आकर अपनी कीमती जमीन को कौड़ियों के दामों पर एग्रीमेंट कराकर ठगे जा रहे हैं, वहीं दलाल उसी जमीन पर चूने से चिन्हांकित कर डस्ट व मुरूम डालकर कच्ची सड़क बना देते हैं। साथ ही ऊंची कीमत पर प्लाट काटकर बेच देते हैं।
पूर्व में 49 लोगों को जारी किया गया था नोटिस
अवैध प्लाटिंग कर उᆬंची कीमत निर्धारित कर जमीनों की खरीदी-बिक्री की जा रही है। यहां जमीन पर केवल डस्ट या राखड़ डालकर कच्चा रास्ता का निर्माण कर दिया जाता है। जिला मुख्यालय में लगातार हो रहे अवैध प्लाटिंग की शिकायत मिलने के बाद एसडीएम मेनका प्रधान, तसहीलदार, आरआई व पटवारी के साथ मौके पर पहुंची और मौका निरीक्षण कर लगभग 49 लोगों को दिसंबर माह नोटिस जारी किया गया था, मगर नोटिस के बाद अधिकांश लोगों द्वारा इसका जवाब प्रस्तुत नहीं किया जा रहा है। ऐसे में एसडीएम कार्यालय से पिᆬर से उन्हें नोटिस जारी कर निर्धारित समय तक जवाब प्रस्तुत करने का निर्देश दिया गया है।