Delhi Metro में सोमवार से खड़े होकर नहीं कर पाएंगे यात्रा, परेशानी से बचने के लिए पढ़ लें DMRC की गाइडलाइन्स
नई दिल्ली। कोरोना की दूसरी लहर के कारण परिचालन बंद होने के करीब एक माह बाद सोमवार से दिल्ली मेट्रो वापस पटरी पर लौट आएगी। दिल्ली मेट्रो के सभी 10 लाइनों पर मेट्रो रफ्तार भरेगी, लेकिन कोरोना संक्रमण के मद्देनजर क्षमता से 50 फीसद कम यात्रियों के साथ ही परिचालन को मंजूरी दी गई है। मेट्रो कोच में सिर्फ बैठकर सफर करने की व्यवस्था होगी, वह भी एक सीट छोड़कर। यात्री खड़े होकर कतई सफर नहीं कर पाएंगे। ऐसे में सामान्य दिनों में एक कोच में जितने यात्री बैठकर व खड़े होकर यात्रा करते हैं, उसके मुकाबले सिर्फ दस फीसद यात्री ही सफर कर सकेंगे। सफर के दौरान यात्रियों को कोरोना से बचाव के नियमों का पालन करना होगा। मास्क नहीं पहनने व शारीरिक दूरी के नियम का पालन नहीं करने पर जुर्माना किया जाएगा।
मिली जानकारी के अनुसार, एक मेट्रो कोच में करीब 300 यात्री सफर करते हैं प्रत्येक कोच में करीब 50 सीट है। अब एक कोच में 25 यात्री ही सफर कर पाएंगे। इस तरह आठ कोच की मेट्रो में करीब 200 व छह कोच की मेट्रो में करीब 150 यात्री सफर कर पाएंगे।
दिल्ली मेट्रो का कुल नेटवर्क 348 किलोमीटर है और 253 स्टेशन हैं। इन स्टेशनों पर कुल 682 गेट हैं, जिसमें से करीब 260 गेट ही खुलेंगे। प्रत्येक स्टेशन पर सिर्फ एक गेट खुला होगा।
दिल्ली मेट्रो रेल निगम (डीएमआरसी) के अनुसार शुरुआती दो दिन स्टेशनों पर मेट्रो पांच से 15 मिनट के अंतराल पर उपलब्ध होगी, जो सामान्य दिनों की तुलना में दोगुना अधिक है। दिल्ली मेट्रो के नेटवर्क में 330 मेट्रो ट्रेनें हैं। 10 फीसद ट्रेनें रिजर्व में रहती हैं। सामान्य दिनों में करीब 300 मेट्रो ट्रेनों का परिचालन होता है, लेकिन अभी करीब 150 मेट्रो ट्रेनें ही ट्रैक पर उतरेंगी, जो करीब ढाई हजार फेरे लगाएंगी।
डीएमआरसी के प्रवक्ता अनुज दयाल ने कहा कि बुधवार से मेट्रो की फ्रिक्वेंसी बढ़ाई जाएगी। स्टेशनों के बाहर लग सकती है भीड़ मेट्रो स्टेशनों के बाहर यात्रियों की भीड़ लगने की आशंका है। इसके मद्देनजर डीएमआरसी ने पुलिस प्रशासन को पत्र लिखकर कानून-व्यवस्था बरकरार रखने की मांग की है। उल्लेखनीय है कि 10 मई से दिल्ली मेट्रो का परिचालन बंद है। पिछले साल कोरोना का संक्रमण शुरू होने पर भी करीब साढ़े पांच माह मेट्रो का परिचालन बंद था।