सैन्य अस्पतालों में ऑक्सीजन वाले बेड की संख्या हुई चार हजार, 93 फीसद में खुद की आपूर्ति
नई दिल्ली। देश में कोविड की गंभीर स्थिति को देखते हुए सेना ने अपने अस्पतालों में ऑक्सीजन सुविधा वाले बेड की संख्या बढ़ाकर चार हजार कर दी है। मिलिट्री हॉस्पिटल और कमांड हॉस्पिटल में ऑक्सीजन सुविधायुक्त बेड की संख्या 1,800 से बढ़ाकर 4,000 करने में छह सप्ताह का समय लगा। इनमें से 93 फीसद अस्पतालों में सेना अपने जेनरेशन प्लांट में बनाई जाने वाली ऑक्सीजन की आपूर्ति कर रही है। यह जानकारी सेना प्रमुख जनरल एमएम नरवणे ने दी है।
जनरल नरवणे ने बताया कि सेना ने बीते छह सप्ताह में अपनी चिकित्सा सुविधाओं में बड़ा इजाफा किया है। इस दौरान सेना ने अपने ऑक्सीजन स्टोरेज प्लांट की संख्या 24 से बढ़ाकर 42 की है। इसके चलते सेना के 93 फीसद अस्पतालों में हमारी खुद की पैदा की हुई ऑक्सीजन का इस्तेमाल हो रहा है। सेना में कोरोना संक्रमित मरीजों की संख्या कम हो रही है। हमारे जो भी जवान संक्रमित हुए हैं, वे बड़ी तेजी से स्वस्थ हो रहे हैं। इस लिहाज से हम सुकून की स्थिति में हैं। जो जवान संक्रमित हुए उनमें बड़ी संख्या उनकी थी जो अवकाश पर अपने घर आए थे और वहीं पर किसी कारणवश संक्रमित हो गए।
सेना प्रमुख ने बताया कि हमारे अग्रिम मोर्चों पर तैनात जवान कोरोना संक्रमित नहीं हुए हैं। क्योंकि हमारा जो जवान बाहर से सीमा क्षेत्र में पहुंचा उसे तीन चरणों में जांच करने के बाद तैनाती दी गई। इसलिए हम पाकिस्तान और चीन से लगने वाली सीमाओं पर पूरी मुस्तैदी से डटे हुए हैं। जनरल नरवणे ने बताया कि सेना के 90 फीसद कर्मियों का टीकाकरण हो चुका है। टीकाकरण के बाद सिर्फ 0.04 फीसद अधिकारी-कर्मचारी संक्रमित हुए। उनमें से भी बहुत कम को अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती करने की जरूरत पड़ी। एक सवाल के जवाब में सेना प्रमुख ने बताया कि अवकाश प्राप्त सैनिकों का भी सेना के अस्पतालों में पूरी गंभीरता से इलाज किया जा रहा है और वो भी तेजी से स्वस्थ हो रहे हैं।