ब्रेकिंग
बृजमोहन अग्रवाल ने भाटापारा नगर में रोड शो कर जनता से भाजपा के लिए वोट मांगे कांग्रेस की राजनीति का उद्देश्य युवराज को लांच कर परिवार के लिए सत्ता का उपयोग करना है -मुख्यमंत्री विष्णु देव साय। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा न... बृजमोहन अग्रवाल का जन्मदिन माता देवालय वार्ड तालाब समीप में झुग्गी झोपड़ी प्रकोष्ठ ने वार्डवासियों के साथ मनाया रायपुर लोकसभा में इस बार भाजपा का तिलस्म टूटेगा,विकास उपाध्याय की होगी अच्छी जीत:- भूपेश बघेल रायपुर लोकसभा में इस बार भाजपा का तिलस्म टूटेगा,विकास उपाध्याय की होगी अच्छी जीत:- भूपेश बघेल भाटापारा विधायक इन्द्र साव ने कांग्रेस की महालक्ष्मी नारी न्याय गारंटी का शुभारंभ किया थाना भाटापारा ग्रामीण पुलिस द्वारा भाटापारा क्षेत्र निवासरत एक बडे मोटरसाइकिल चोर गिरोह का किया गया पर्दाफाश मोटरसाइकिल चोर गिरोह के एक अपचारी बालक स... भाजपा सांसद सक्रिय होता तो क्षेत्र की इतनी दुर्दशा नही होती:-विकास उपाध्याय क्षेत्र की जनता ने जिस प्रकार विधानसभा में कांग्रेस को जिताया है,उसी प्रका... भाजपा सांसद सक्रिय होता तो क्षेत्र की इतनी दुर्दशा नही होती:_विकास उपाध्याय। क्षेत्र की जनता ने जिस प्रकार विधानसभा में कांग्रेस को भारी मतों से जिता... रायपुर के कांग्रेस भवन में भाटापारा विधायक इन्द्र साव का जन्मदिवस मनाया गया

प्रदेश में डीएमएफ फिर से कलेक्टरों के हवाले, हटाए गए प्रभारी मंत्री

रायपुर: प्रदेश में खनिज विकास निधि (डीएमएफ) परिषद की कमान फिर से कलेक्टरों को सौंप दी गई है। कलेक्टर पहले भी अध्यक्ष हुआ करते थे, लेकिन मौजूदा सरकार ने इसमें बदलाव करते हुए प्रभारी मंत्रियों को इसका अध्यक्ष बना दिया था। वहीं, कलेक्टरों को परिषद का पदेन सचिव नियुक्त किया था। केंद्र सरकार की आपत्ति और केंद्रीय मंत्री प्रल्हाद जोशी के पत्र के बाद सरकार ने इसमें फिर से बदलाव किया है। डीएमएफ की कमान फिर से कलेक्टरों को सौंपे जाने के लिए नियमों में बदलाव करते हुए सरकार ने इसकी अधिसूचना जारी कर दी है।

बता दें कि प्रभारी मंत्री को अध्यक्ष बनाए जाने पर अपत्ति करते हुए केंद्र सरकार ने पिछले महीने 18 तारीख राज्य को पत्र भेजा था। इसमें केंद्र सरकार ने कहा था कि प्रभारी मंत्रियों को डीएमएफ परिषद के अध्यक्ष पद से हटाएं, क्योंकि फंड के प्रमुख कलेक्टर ही होंगे। इस बदलाव के संबंध में जारी अधिसूचना के अनुसार जिले के लोकसभा सांसद भी परिषद के सदस्य होंगे।

यदि किसी सांसद का क्षेत्र एक से अधिक जिलों में आता है तो वे ऐसे सभी जिलों के सदस्य होंगे। वहीं, राज्यसभा सदस्य किसी एक जिले में सदस्य होंगे, जिसका चयन वे स्वयं करेंगे। बताते चलें कि केंद्र सरकार ने 23 अप्रैल 2021 को आदेश जारी कर कहा था कि जिले के प्रशासनिक प्रमुख डीएमएफ के अध्यक्ष के रूप में कार्य करेंगे। इसके साथ ही जिले में खनन प्रभावित क्षेत्रों के चयनित प्रतिनिधियों को डीएमएफ के उद्देश्यों के प्रभावी क्रियान्वयन के लिए देश के सभी खनन प्रभावित क्षेत्र के जिलों में शासी परिषद के सदस्यों के रूप में शामिल किया जाएगा।

इससे डीएमएफ के अंतर्गत निधि का सुचारू प्रबंधन सुनिश्चित होगा और डीएमएफ के अंतर्गत परियोजनाओं के निष्पादन में जन प्रतिनिधियों की समस्याओं का समाधान भी होगा। दरअसल, डीएमएफ फंड के प्रमुख को लेकर केंद्र सरकार ने 23 अप्रैल 2021 को ही स्पष्ट दिशा निर्देश जारी कर दिया था। मगर, छत्तीसगढ़ सरकार ने दो जून 2021 को केंद्र सरकार को पत्र भेजकर ये आग्रह किया था कि डीएमएफ की शासी परिषद के अध्यक्ष के रूप जिले के प्रभारी मंत्रियों को अनुमति दी जाए।